लकड़ी को छील कर बना रहे चाट की चम्मच


दोस्तों आज हम आ पहुंचे हैं एक ऐसी बडी फैक्ट्री में जहां एक भाई ने लगा रखा है ऐसा बेहतरीन सेटअप जिसमें बहुत सारी मशीने हैं और एक छोटी सी प्रक्रिया के बाद लकड़ी से बन जाते है कमाल-कमाल की आईटम। यह भाई बनाते हैं चाट की चम्मच, आइसक्रीम की स्टिक और अन्य बहुत प्रकार के लकड़ी के आइटम। यह आइटम सुनने में जितने सरल लग रहे हैं मार्केट में इनकी उतनी ज्यादा डिमांड है। तो आईए जानते हैं फैजल भाई से वे किस तरह से इस सेटअप को चला रहे हैं और कैसे-कैसे बनाते हैं ये सभी बेहतरीन प्रोडक्ट

फैसल भाई बताते हैं की लकड़ी की चम्मच बनाने के लिए सबसे पहले किसानों से लकड़ी खरीदी जाती है। उसके बाद उन्हें 1-1.5 फुट के मोटे गोल लक्कड़ के रूप में काटा जाता है। जिसे की ये पीलिंग मशीन में सही तरह से लग जाए। उससे पहले इन लकड़ी के ब्लॉक को छील कर इनकी छाल उतार देते है ताकि काटने में आसानी हो। अब ब्लॉक को उठाकर पीलिंग मशीन में सेट कर देते हैं और पीलिंग मशीन उस ब्लॉक से 2 एमएम मोटी लंबी चौड़ी परत बड़ी ही सफाई से उतार देती है, जिसे प्लाई पट्टा कहते हैं। इन पट्टों को इकट्ठा करते है, जिन्हे ट्रे कहते है। फिर इन्हें कटिंग मशीन पर ले जाते है। इस मशीन को जर्मन मशीन भी कहते हैं जिस आकार में चम्मच बनानी होती है उसी तरह का मोल्ड इसमें लगा देते है जो वैसे ही डिज़ाइन और साइज में चम्मच काट कर तैयार कर देता है। इसी प्रकार आइसक्रीम स्टिक भी बनाई जाती है।

चम्मचों की सफाई से कटिंग होने के लिए लकड़ी में मॉइश्चर का होना बहुत जरूरी है। इसमें लगभग 50% नमी होने पर लकड़ी फ्लैक्सिबल रहती है, जिससे वह आसानी से कट और मोल्ड हो जाती है। कटिंग होने के बाद चम्मच को सूरज की धूप में सूखने के लिए छोड़ देते हैं। गर्मियों में 5-6घंटे की धूप तथा सर्दियों में 1 से 2 दिन तक भी लग जाते हैं। और तैयार हो जाती है हमारी चम्मचे। कटिंग मशीन द्वारा एक स्टॉक में लगभग 200 चम्मच तैयार हो जाती है। इनको सूखने के बाद एक रोलिंग मशीन में तीन से चार घंटे के लिए डाल देते हैं। जिसमें ये घूमती रहती है, जिससे चम्मच में आपस में घर्षण खाकर खुद ही पॉलिशिंग और फिनिशिंग आ जाती है। तैयार हो जाने के बाद चोकोबार आइसक्रीम स्टिक, स्पून, चाट चम्मच, आइसक्रीम स्पून आदि को अलग-अलग बंच करके पैकिंग कर देते हैं और अब ये मार्केट में जाने के लिए तैयार है। ऐसी ही और अन्य जानकारी के लिए जुड़े रहिए हमारे साथ। धन्यवाद॥
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