ब्रीद हाउस बेंगलुरु में दीपा सूर्यप्रकाश जी का खास घर है, जिसे प्रकृति के करीब रखते हुए डिज़ाइन किया गया है। इस घर को बनाने में आधुनिक और पारंपरिक तकनीकों का अनोखा मेल किया गया है। इसमें मिट्टी, पत्थर और सीमेंट जैसी प्राकृतिक चीजों का इस्तेमाल किया गया है। सबसे खास बात यह है कि यह घर पूरी तरह से इको-फ्रेंडली (पर्यावरण अनुकूल) है और इसका बिजली का बिल शून्य (Zero Electricity Bill) आता है।


1. घर का आधार (फाउंडेशन) और बनावट

इस घर का आधार (फाउंडेशन) बनाते समय ज़मीन में बड़े-बड़े बोल्डर (पत्थर) मिले, जिन्हें हटाने के बजाय डिज़ाइन में शामिल किया गया। घर के नीचे की ज़मीन में लगभग 6 फीट का ढलान (सलोप) था, जिसे ध्यान में रखकर पूरी संरचना तैयार की गई। घर के अंदर का भाग रेक्टेंगल है लेकिन बाहर से दीवारें घुमावदार (कर्व) बनाई गई हैं, जिससे यह देखने में अलग और सुंदर लगता है।

2. दीवारों की खासियत

इस घर की दीवारें सामान्य ईंटों से नहीं बनी हैं बल्कि इसे ज़मीन से मिली मिट्टी का इस्तेमाल करके दो तरह की दीवारों से बनाया गया है 


1. CSEB (कंप्रेस्ड स्टैबिलाइज्ड अर्थ ब्लॉक्स) –

  • जिस मिट्टी पर घर बना है, उसी मिट्टी से ईंटें बनाई गई हैं।
  • ये ईंटें मजबूत और प्राकृतिक होती हैं, जिससे घर ठंडा रहता है।

2. रेम्ड अर्थ वॉल 

  • इसमें मिट्टी और सीमेंट को मिलाकर दबाया (कूटा) गया है।
  • यह तकनीक पुराने समय में किलों और मजबूत इमारतों में इस्तेमाल होती थी।


3. छत और रोशनी का खास डिज़ाइन

ब्रीद हाउस की छत को इस तरह बनाया गया है कि बारिश का पानी अंदर न आए, लेकिन सूरज की रोशनी का प्रतिबिंब (रिफ्लेक्शन) घर में पहुंचे। इससे घर में हमेशा हल्की प्राकृतिक रोशनी बनी रहती है और दिन में लाइट जलाने की जरूरत नहीं पड़ती।

4. फर्श और दीवारों की सजावट

  • इस घर की टाइलें ऍन कॉस्टिंग सीमेंट से बनाई गई हैं, जिनमें अलग-अलग रंगों का मिश्रण किया गया है।
  • फर्श (फ्लोर) और दीवारों पर पत्तों (लीफ्स) के डिज़ाइन उकेरे गए हैं, जिससे घर एक प्राकृतिक और कलापूर्ण लुक देता है।
  • वॉशबेसिन भी सीमेंट से बना हुआ है और इसे खास डिज़ाइन में ढाला गया है।

5. पानी का प्रबंधन और रेन गार्डन

  • बारिश का पानी बचाने के लिए एक खास सिस्टम लगाया गया है।
  • छत पर 1000 लीटर का टैंक लगा हुआ है, जिसमें बारिश का पानी इकट्ठा होता है।
  • यह पानी पाइप के जरिए नीचे बने रेन गार्डन में जाता है।

इस गार्डन में कोई कंक्रीट का इस्तेमाल नहीं हुआ, बल्कि बड़े-बड़े पत्थर रखे गए हैं, जिससे पानी ज़मीन में समा सके और ग्राउंड वाटर बढ़े।


6. बिजली और सौर ऊर्जा (सोलर पैनल)

  • इस घर में सोलर पैनल लगे हैं, जिससे सारा बिजली खर्च सौर ऊर्जा से पूरा हो जाता है।
  • इसलिए इस घर का बिजली का बिल जीरो आता है।
  • सौर ऊर्जा का सही उपयोग करने के लिए घर का डिज़ाइन इस तरह बनाया गया है कि दिनभर प्राकृतिक रोशनी अंदर आती रहे और रात में सोलर लाइट्स से रोशनी हो।

7. प्राकृतिक हवा और इनसाइड गार्डन

  • इस घर में हवा, पानी और रोशनी का सही संतुलन बना रहे, इसके लिए जगह-जगह खुली जगह (वेंटिलेशन) रखी गई है।
  • घर के अंदर एक खास गार्डन (इनसाइड गार्डन) बनाया गया है, जिसे "कवाद वॉल" के रूप में डिज़ाइन किया गया है।
  • इससे घर के अंदर ताज़ी हवा आती रहती है और गर्मी में भी ठंडक बनी रहती है।


8. हैंडमेड बाथरूम और वॉशरूम डिज़ाइन

  • इस घर में बाथरूम और वॉशरूम को भी खास डिज़ाइन किया गया है।
  • सब कुछ हाथ से (हैंडमेड) बनाया गया है – जैसे वॉशबेसिन, टाइल्स और दीवारों पर डिजाइन।
  • पानी के निकास के लिए बड़े पत्थर और प्राकृतिक जल निकासी (ड्रेनेज) सिस्टम का इस्तेमाल किया गया है।


निष्कर्ष – क्यों खास है ब्रीद हाउस?

ब्रीद हाउस सिर्फ एक घर नहीं, बल्कि एक उदाहरण है कि कैसे हम पर्यावरण के अनुकूल (इको-फ्रेंडली) घर बना सकते हैं।

  •  मिट्टी और प्राकृतिक सामग्रियों से बना है
  •  बारिश के पानी का सही उपयोग होता है
  • सौर ऊर्जा से बिजली की बचत होती है
  •  प्राकृतिक हवा और रोशनी का पूरा ध्यान रखा गया है

अगर हम भी इसी तरह के घर बनाएँ, तो हमारा जीवन स्वस्थ, टिकाऊ (सस्टेनेबल) और पर्यावरण के अनुकूल हो सकता है। ब्रीद हाउस हमें सिखाता है कि कम साधनों में भी खूबसूरत और आरामदायक घर बनाया जा सकता है।


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