जब भी आप दूध का गिलास उठाते हैं क्या आपने कभी सोचा है कि यह हमेशा सफेद ही क्यों होता है? आखिर पानी पारदर्शी होता है जूस अलग-अलग रंगों में दिखते हैं लेकिन दूध हमेशा सफेद ही रहता है। क्या इसके पीछे कोई रहस्य है? नहीं, यह पूरी तरह से विज्ञान का कमाल है आइए, इसे सरल भाषा में समझते हैं।

दूध में मौजूद तत्व

दूध एक संपूर्ण आहार है जिसमें कई पोषक तत्व होते हैं। यह मुख्य रूप से निम्नलिखित भागो से बना होता है

पानी – दूध का लगभग 87% हिस्सा पानी होता है।

वसा (Fat) – दूध में मौजूद वसा इसे क्रीमी बनाती है और पोषण देती है।

प्रोटीन (Protein) – इसमें मुख्य रूप से केसिन और वेह प्रोटीन होते हैं।

लैक्टोज (Lactose) – यह दूध में प्राकृतिक रूप से पाई जाने वाली शक्कर होती है।

खनिज और विटामिन – इसमें कैल्शियम, फॉस्फोरस, विटामिन A, D, B12 आदि पाए जाते हैं।

दूध में केसिन क्या है?

केसिन दूध में मौजूद मुख्य प्रोटीन है जो दूध के कुल प्रोटीन का लगभग 80% होता है। केसिन के अणु बहुत छोटे-छोटे समूहों के रूप में दूध में तैरते रहते हैं। ये कण दूध को सफेद बनाने में मुख्य भूमिका निभाते हैं। जब प्रकाश दूध पर पड़ता है तो यह इन केसिन कणों से टकराकर चारों दिशाओं में फैलता है जिससे दूध सफेद दिखाई देता है।

केसिन प्रोटीन का एक और खास गुण यह है कि यह शरीर में धीरे-धीरे पचता है और लंबे समय तक ऊर्जा प्रदान करता है। इसके अलावा, यह मांसपेशियों की वृद्धि और हड्डियों की मजबूती में भी मदद करता है।

प्रकाश का परावर्तन और फैलाव 

जब प्रकाश किसी वस्तु पर पड़ता है, तो वह या तो अवशोषित हो जाता है, या रिफ्लेक्ट होकर हमारी आंखों तक पहुंचता है। दूध में मौजूद केसिन, वसा और कैल्शियम के छोटे-छोटे कण प्रकाश को चारों दिशाओं में बिखेर देते हैं। यह प्रक्रिया टिंडल प्रभाव और रैले स्कैटरिंग के रूप में जानी जाती है।

प्रकाश का यह फैलाव सभी रंगों के प्रकाश को समान रूप से परावर्तित करता है जिससे दूध सफेद दिखाई देता है। यदि दूध में मौजूद कण बड़े होते तो यह हल्का अलग रंग का दिखाई दे सकता था।

क्या दूध का रंग कभी बदल सकता है?

हालांकि दूध आमतौर पर सफेद दिखता है लेकिन कुछ परिस्थितियों में इसका रंग थोड़ा बदल सकता है। इसका मुख्य कारण इसमें मौजूद पोषक तत्व और उनके कणों का आकार होता है।

पीला दूध: यदि दूध में कैरोटीन अधिक मात्रा में मौजूद हो, तो यह हल्का पीला दिखाई दे सकता है। गाय के दूध में कैरोटीन अधिक होता है क्योंकि गाय हरी घास खाती है जिससे उसका दूध हल्का पीला रंग का हो सकता है।

गाढ़ा सफेद दूध: भैंस के दूध में गाय के दूध की तुलना में अधिक वसा और प्रोटीन होता है, इसलिए यह अधिक सफेद और गाढ़ा दिखता है

क्या दूध का सफेद रंग उसके पोषण से जुड़ा होता है?

नहीं, दूध का सफेद रंग केवल प्रकाश के परावर्तन और फैलाव की वजह से होता है। इससे दूध के पोषण मूल्य पर कोई प्रभाव नहीं पड़ता। दूध चाहे हल्का पीला हो या सामान्य सफेद, उसका पोषण मूल्य लगभग समान ही रहता है। इसका रंग केवल उसमें मौजूद वसा, प्रोटीन और अन्य तत्वों की मात्रा पर निर्भर करता है।

दूध का पोषण और उसके फायदे

दूध न केवल एक संपूर्ण आहार माना जाता है, बल्कि यह शरीर के विकास और स्वास्थ्य के लिए भी बेहद जरूरी है। इसमें मौजूद कैल्शियम हड्डियों और दांतों को मजबूत बनाता है प्रोटीन मांसपेशियों के निर्माण में मदद करता है और विटामिन्स शरीर की रोग प्रतिरोधक क्षमता को बढ़ाते हैं।

निष्कर्ष

दूध सफेद इसलिए दिखाई देता है क्योंकि इसमें मौजूद केसिन, वसा और कैल्शियम के छोटे-छोटे कण प्रकाश को चारों दिशाओं में फैलाते हैं। यह पूरी तरह से एक प्राकृतिक और वैज्ञानिक प्रक्रिया है। साथ ही, दूध में मौजूद केसिन प्रोटीन इसे पोषण से भरपूर बनाता है और इसे सेहत के लिए फायदेमंद बनाता है। अगली बार जब आप दूध पिएं, तो सोचिए कि कैसे छोटे-छोटे कण और प्रकाश विज्ञान इसे सफेद बनाते हैं।और दूध पीने से पहले नाक मत चढ़ाइए, क्योंकि दूध हमारे सेहत के लिए बहुत फायदेमंद होता है।

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